Social Icons

Monday, May 14, 2007

प्रीत करे मीत के पुकार हे सजनी

प्रीत करे मीत के पुकार हे सजनी डासल सेजरिया जहर भऽइल।।

दिहल केवरिया पवनवा खोलावे बरबस बेदर्दी के याद ले आवे,
रोय भरे सोरहो सिंगार हे सजनी डासल सेजरिया जहर भऽइल।
प्रीत करे मीत के पुकार हे सजनी डासल सेजरिया जहर भऽइल।।

छिटके चंदनिया अऽगीनिया लगावे सुतलस नेहिया इऽ बैरिन जगावे,
भावे ना अङ्गना दुआर हे सजनी डासल सेजरिया जहर भऽइल।
प्रीत करे मीत के पुकार हे सजनी डासल सेजरिया जहर भऽइल।।

पिहके पपिहरा पनघट किनारे अपनी मोरनिया का मोरवा दुलारे,
सम्हरे न गगरी हमार हे सजनी डासल सेजरिया जहर भऽइल।
प्रीत करे मीत के पुकार हे सजनी डासल सेजरिया जहर भऽइल।।

सगरो फुलवरिया के फुलवा फुलाईल बन मतवारे भवरवा लोभाऽईल,
सहलो ना जाला बहार हे सजनी डासर सेजरिया जहर भऽईल।
प्रीत करे मीत के पुकार हे सजनी डासल सेजरिया जहर भऽइल।।

सरसो से खेतवा पियराइल बिरहन कोयलिया के बिरहा उमड़ाइल,
नीर झरे साँझ भीनसार हे सजनी डासल सेजरिया जहर भऽइल।
प्रीत करे मीत के पुकार हे सजनी डासल सेजरिया जहर भऽइल।।

No comments:

Popular Posts

Blog of the Day - Daily Update